विश्व ग्रीष्मकालीन खेल जर्मनी जा रहे प्रतिभागियों से मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने की मुलाकात,



ऋषिकेश 04 जून। मुख्यमंत्री मा० पुष्कर सिंह धामी ने विश्व ग्रीष्मकालीन खेल जर्मनी जा रहे सभी प्रतिभागियों से मुलाकात कर उन्हें अग्रिम शुभकामनाएं प्रदान की।

स्पेशल ओलंपिक द्वारा आयोजित विश्व ग्रीष्म कालीन खेल २०२३ बर्लिन का आयोजन 17 जून से 25 जून जर्मनी में हो रहा है,। एरिया डायरेक्टर उत्तराखंड डीबीपीएस रावत ने बताया कि हमारे सम्पूर्ण भारतवर्ष से 198 एथलीट, 57 कोच प्रतिभाग कर रहे हैं। वहीं स्पेशल ओलंपिक भारत उत्तराखंड से 2 एथलीट हिमांशु बिष्ट व हर्षित कुमार प्रतिभाग करेंगे, दोनों ही एथलीट का चयन फुटसल खेल हेतु हुआ है।

वहीं दूसरी ओर तीन कोच भी उत्तराखंड का प्रतिनिधित्व अंतरराष्ट्रीय मंच पर करेंगे जिसमें जितेंद्र कुमार ( फुटबाल), उपदेश उपाध्याय ( वॉलीबाल), जगदीश सिंह चौहान ( वॉलीबॉल) हेतु चयनित हुए हैं।इस मौके पर सभी प्रतिभागियों को अपनी अग्रिम शुभकामनाएं प्रदान करने के लिए रविवार को मुख्यमंत्री धामी ने अपने आवास पर सभी प्रतिभागियों व राज्य समिति कें सदस्यों से मुलाकात की।

क्षेत्रीय निदेशक  डी बी पी एस रावत ने सभी प्रतिभागियों को राज्य के ओर से टीशर्ट प्रदान कर विजय होकर लौटने के लिए कहा।कार्यक्रम में एस ओ बी राज्य संरक्षक राजेश भट्ट, भाजयुमो की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष नेहा जोशी, फैमिली फोरम अध्यक्ष योगेश गुरुवाणी, प्रोग्राम मैनेजर अंकुर अग्रवाल, युवा प्रतिनिधि मुकुल थापा,राज्य सदस्य विजयलक्ष्मी, मधु रावत, राखी पाठक आदि लोग उपस्थित रहे।

स्पेशल ओलंपिक विश्व ग्रीष्मकालीन खेल जर्मनी  2023 के लिए वॉलीबॉल कोच के रूप में ऋषिकेश के उपदेश उपाध्याय का हुआ चयन



ऋषिकेश 28 मई। बर्लिन में जून में होने वाले स्पेशल ओलंपिक्स विश्व ग्रीष्मकालीन खेल जर्मनी 2023 का आयोजन होने जा रहा है।

जिसको लेकर राष्ट्रीय कार्यालय द्वारा ऋषिकेश से ज्योति स्पेशल स्कूल में कार्यरत खेल एवं योग  प्रशिक्षक उपदेश उपाध्याय का स्पेशल ओलंपिक विश्व  ग्रीष्मकालीन खेल जर्मनी 2023 में उत्तराखंड राज्य की तरफ से वॉलीबॉल कोच के रूप में प्रतिभाग करने के लिए चयन किया गया है।

जिसके लिए बर्लिन में 15 जून 2023 से लेकर 26 जून 2023 तक इन खेलों का आयोजन किया जाएगा जिसको लेकर ज्योति स्पेशल स्कूल के प्रबंधक हंसवर्धन शर्मा और प्रधानाचार्य कमलेश भाटिया ने उपदेश उपाध्याय को अपनी शुभकामनाएं प्रेषित की हैं।

जूनियर क्रिकेटरों के साथ अश्लील बातें करने और गालियां देने के आरोपी क्रिकेट कोच नरेंद्र शाह को किया गया एम्स अस्पताल में भर्ती, अश्लील ऑडियो क्लिप वायरल होने पर कोच ने खाया था जहर



ऋषिकेश 4 मार्च। क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड के क्रिकेट कोच नरेंद्र शाह को आज दून अस्पताल देहरादून से एम्स अस्पताल ऋषिकेश में शिफ्ट किया गया है।

आपको बता दें कि क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड (Cricket Association of Uttarakhand) ने क्रिकेट कोच नरेंद्र शाह (Cricket Coach Narendra Shah) को जूनियर क्रिकेटरों के साथ अश्लील बातें करने और गालियां देने का आरोप में सह समन्वयक पद से हटा दिया था ।

जानकारी के मुताबिक नरेंद्र शाह को उत्तराखंड क्रिकेट एसोसिएशन में महिला क्रिकेट (Women Cricket) की जिम्मेदारी मिली थी।गौरतलब है 1 सप्ताह पूर्व क्रिकेट कोच नरेंद्र शाह पर जूनियर क्रिकेटरों के साथ अश्लील बातें करने और गालियां देने का आरोप है।

एक किशोरी से बातचीत की अश्लील ऑडियो क्लिप वायरल हुई थी। वायरल ऑडियो (Viral Audio) में नरेंद्र किसी युवती से अभद्र बातचीत कर रहे हैं। इसके बाद नरेंद्र शाह ने जहर खा लिया था। इसके बाद नरेंद्र शाह ने जहर खा लिया था। उनकी हालत देख उन्हें दून अस्पताल देहरादून में फौरन आईसीयू में शिफ्ट किया गया था वह वेंटिलेटर पर फुल ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखे गए थे।

अब उनकी हालत को सामान्य पाने पर पुलिस द्वारा पूछताछ के लिएदून अस्पताल देहरादून गई थी जहां पर नरेंद्र शाह ने अपने पेट में दर्द और तबीयत खराब होने का हवाला देते हुए ऋषिकेश एम्स अस्पताल में अपना इलाज कराने की बात कही जिस पर डॉक्टर की सलाह पर नरेंद्र शाह को लेकर उसके परिजन पुलिस की निगरानी में एक अस्पताल ऋषिकेश पहुंचे। जहां पर चिकित्सक उसका इलाज कर रहे हैं।

चार धाम आने वाले यात्रियों की सुरक्षा के लिए मार्गो पर रहेगी चाक-चबंद व्यवस्था‌-चंदन राम दास -धामों में यात्रियों के खाने के लिए वैष्णो ढाबे खोले जाएंगे -अधिक यात्रियों के आने पर साढ़े तीन‌सौ बसे सरपलस रखी‌ जाएगी परिवहन मंत्री ने ऋषिकेश में वाहन स्वामियों को ग्रीन कार्ड दिए जाने के साथ किया यात्रियों के प्रतिक्षालय का उद्घाटन



ऋषिकेश 3 अप्रैल ‌। उत्तराखंड राज्य के परिवहन मंत्री चंदन राम दास ने कहा कि वर्ष 2023 में आयोजित चार धाम यात्रा में पिछली बार की अपेक्षा काफी अधिक संख्या में मंदिरों के दर्शन के लिए यात्री आ रहे हैं, जिनकी सुरक्षा करना सरकार की प्राथमिकता है। जिसके लिए सभी विभागों से समन्वय स्थापित कर टीम भावना से कार्य किया जाएगा। इसी के साथ धामों पर खाने के लिए वैष्णो ढाबे भी खोले जाएंगे। यह बात परिवहन मंत्री चंदन राम दास ने सोमवार को संभागीय परिवहन कार्यालय ऋषिकेश में चारधाम यात्रा में आने वाले यात्रियों के विश्राम गृह उपसम्भागीय परिवहन कार्यालय में नवनिर्मित वातानुकूलित प्रतीक्षालय का उद्घाटन और वाहन स्वामियों को ग्रीनकार्ड वित्तरण करने के साथ उप सहायक संभागीय परिवहन कार्यालय में नवनिर्माण कार्य की प्रगति का अवलोकन करने के उपरांत पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि‌‌ पिछली बार यात्रा के दौरान कुछ कमियां थी, जिसका संज्ञान लेते प्रदेश के मुख्यमंत्री सहित परिवहन से जुड़े तमाम कंपनियों के साथ बातचीत कर उनका समाधान भी किया गया है। उनका कहना था कि चार धाम पर जाने वाले यात्री बड़ी श्रद्धा के साथ मंदिरों के दर्शन करने के लिए आते हैं, हमारी अपेक्षा रहेगी कि वह यहां से अच्छा संदेश लेकर जाए, उन्होंने कहा कि चार धाम पर यात्रियों को ले जाने वाले वाहन चालको को भी अच्छी सुविधा दिए जाने का प्रयास किया जा रहा है। जिनके लिए अच्छे खाने के साथ उनके आराम करने की व्यवस्था भी सरकार की ओर से की जा रही है, जिसके कारण वाहन चालक तनावमुक्त भी रहेगा, और यात्रियों को सुखद पूर्वक यात्रा भी करवाएगा, उन्होंने बताया कि 12 अप्रैल को एक बार फिर सभी विभागों की संयुक्त बैठक भी बुलाई जा रही है। तमाम विभागों को निर्देशित कर दिया गया है कि वह सड़कों को गड्ढा मुक्त बनाएं जिससे दुर्घटनाओं से बचा जा सकता है। उन्होंने कहा कि यात्रियों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए यात्रियों के पास आयुष्मान कार्ड ना होने पर उन्हें तमाम सरकारी अस्पतालों में चिकित्सा की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी, उन्होंने बताया कि यात्रा मार्ग पर स्वास्थ्य की दृष्टि से 50 एटीएम सेंटर भी खोले जा रहे हैं, इतना ही नहीं सरकार ने दुर्घटना के दौरान परेशानियों से बचाए जाने के लिए देशभर के बड़े अस्पतालों से भी संपर्क कर उन्हें चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराया जाने की व्यवस्था भी की है। उन्होंने कहा कि इस बार चार धाम यात्रा पर सीएनजी और इलेक्ट्रिकल वाहनों को भी संचालित की जाएगा, इसी के साथ साढ़े तीन सौ वाहनों को सरपलस रखा जाएगा।उन्होंने कहा कि इस बार वाहनों का किराया नहीं बढ़ाया जाएगा। उन्होंने मीडिया बंधुओं से भी आग्रह किया है कि वह पहली खबरों से बचें, जिससे यात्रियों को काफी असुविधा का सामना करना पड़ता है। उन्होंने यह भी जानकारी दी कि रोडवेज को 20 करोड़ के घाटे से बचाकर 20लाख के प्रॉफिट में लाया गया है। उन्होंने सरकार द्वारा वाहनों में लगाए जाने वाली डिवाइस के लाभ की जानकारी भी दी। उन्होंने संयुक्त रोटेशन के पदाधिकारियों से भी आग्रह किया है कि वह प्रशिक्षित चालकों को ही यात्रा पर भेजें। उन्होंने कहा कि इस बार यात्रा को सुविधा पूर्वक और शुगम और सुरक्षात्मक दृष्टि से बनाए जाने के साथ दुर्घटनाग्रस्त बनाए जाने का प्रयास किया गया । जिसकी मॉनिटरिंग प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा समय-समय पर की जा रही है। इस दौरान आरटीओ सुनील कुमार शर्मा ने कहा इस बार चार धाम यात्रा पर चेकपोस्ट हाईटेक होगी,जिसके कारण जाम की स्थिति पैदा नहीं होने दी जाएगी, इसी के साथ यात्रा पर जाने वाले वाहनों को जगह-जगह रोक कर चेक करने की व्यवस्था नहीं रहेगी, जिसके लिए टीमें गठित हैं, उन्होंने कहा कि चार धाम पर जाने वाली टैक्सी गाड़ियों को प्राथमिकता दी जाएगी, जिसके कारण जानकी इससे जैसे भी बचा जा सकेगा। उन्होंने बताया कि परिवहन विभाग द्वारा इस प्रकार की व्यवस्था की गई है कि धामों के दर्शन करने वाले यात्रियों को किसी प्रकार की असुविधा ना हो, ऋषिकेश में ‌‌यात्रियों‌‌ को होने वाली से असुविधा से बचने के लिए, एक केंद्र की स्थापना भी की गई है, जिसमें सभी असुविधा का समाधान किया जाएगा, इसी के साथ 2022 से विभाग की ओर से ग्रीन कार्ड ‌की व्यवस्था की गई है। नगर निगम महापौर अनीता ममगांई ने कहा कि चार धाम पर आने वाले यात्रियों की सुविधा के लिए नगर निगम भी पूरी तरह से मदद करेगा, उन्होंने कहा कि निगम द्वारा स्वच्छता की दृष्टि से आशिक स्वच्छता कर्मियों की भर्ती कर यात्रा मार्गों के साथ यात्रा अड्डे को भी स्वच्छ रखा जाएगा उन्होंने यह भी कहा कि निगम की ओर से हाईटेक शौचालयों का निर्माण भी किया गया है। इसी के साथ मोबाइल शौचालय को भी उपलब्ध रखा जाएगा। इस अवसर पर एआरटीओ अरविंद पांडे, आरटीओ पौड़ी द्वारिका प्रसाद, एआरटीओ रश्मि पंत, एआरटीओ रुड़की एल्विन रॉक्सी, आरटीओ रुड़की कुलवंत सिंह चौहान, आरटीओ हरिद्वार रत्नाकर सिंह, संयुक्त रोटेशन के अध्यक्ष संजय शास्त्री, कार्यकारी अध्यक्ष मनोज ध्यानी ,भारतीय जनता पार्टी के जिला अध्यक्ष रविंद्र राणा, सहित तमाम विभागीय अधिकारियों के साथ परिवहन विभाग से जुड़े लोग भी उपस्थित थे।

35 वें अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव का 4 दिवस ध्यान, योग, जप, वैदिक ज्ञान, आयुर्वेद और संगीत में डूबे विश्व के 90 देशों के 1500 से अधिक प्रतिभागी कर रहे प्रतिभाग इजराइल संगीतज्ञ गिल रान सामा के संगीत ने मचायी धूम



ऋषिकेश, 11 मार्च। परमार्थ निकेतन में आयोजित अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव के 4 दिन 90 से अधिक देशों के 1500 से अधिक प्रतिभागी योग, ध्यान, प्राणायाम, आयुर्वेद, संगीत, भारतीय दर्शन व जीवन विधाओं को आत्मसात कर रहे हैं। सायंकाल परमार्थ निकेतन गंगा तट होने वाली दिव्य गंगा आरती सभी के लिये एक दिव्य आकर्षण का केन्द्र है। यहां पर योग जिज्ञासु योग की प्राचीन विधाओं के साथ भारतीय दर्शन और जीवन पद्धति, भारतीय भोजन और चितंन को भी आत्मसात कर रहे हंै।

इस अवसर पर स्वामी चिदानन्द सरस्वती  ने कहा कि योग हमारे ऋषियों की सदियों की तपस्या का सुखद परिणाम है। योग हमारी विरासत है जो पूरे विश्व के लिये अमूल्य उपहार है। योग ना केवल शारीरिक स्तर पर बल्कि मानसिक और मनोवैज्ञानिक स्तर पर भी हमें मजबूत करता है, इसलिये आईये करें योग और रहें निरोग।

केंद्रीय कैबिनेट मंत्री, आयुष मंत्रालय और पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय भारत सरकार  सर्बानंद सोनोवाल ने आज प्रातःकाल यज्ञ के पश्चात स्वामी जी का आशीर्वाद लेकर परमार्थ निकेतन के विदायी ली।

 मंत्री ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुये कहा कि परमार्थ निकेतन आकर देखा कि पूरे विश्व के योग साधक एक साथ आकर एकता के साथ समर्पित भाव से योग कर रहे हैं। यहां के दृश्य को देखकर मैं चकित हो गया। वास्तव में परमार्थ निकेतन योग के क्षेत्र में अद्भुत कार्य कर रहा है। स्वामी चिदानन्द सरस्वती के मार्गदर्शन में योग की व्यापकता के लिये विलक्षण कार्य सम्पन्न हो रहे हैं। यज्ञ में सहभाग कर जीवन की धन्यता और पूर्णता का अनुभव हुआ। यहां का स्वर्गतुल्य वातावरण दिल और आत्मा को स्पर्श करने लेने वाला है।
साध्वी भगवती सरस्वती जी ने कहा कि पूर्ण स्वास्थ्य का तात्पर्य यह नहीं है कि हमें बुखार, वायरस, बैक्टीरिया या अन्य किसी प्रकार का संक्रमण नहीं है अर्थात हम पूर्ण स्वस्थ है। स्वास्थ्य अर्थात् पूर्णता का अनुभव से है।
तनाव में रहने से हमारे शरीर, हमारे दिमाग और हमारे दिल को नुकसान पहुंचाता हैं।
उन्होंने कहा कि भारतीय ‘योग’ स्टूडियों में किये जाने वाले आसनों तक सीमित नहीं है बल्कि ऋषियों ने अपनी साधना से परिष्कृत कर एक समग्र जीवन पद्धति का निर्माण किया है। पंतजलि योग सूत्र में यम, नियम, आहार और विहार का उत्कृष्ट वर्णन किया गया है कि हमारा भोजन, निद्रा, जागना और हमारी चिंतनशैली कैसी हो, अर्थात् योग दो या चार घन्टों का अभ्यास नहीं बल्कि पूरी जीवनप्रणाली है।
रेवरेंड माइकल बेकविथ ने कहा कि ‘प्रार्थना में अद्भुत शक्ति होती हैं, प्रार्थना के माध्यम से हम स्वयं पर पूर्ण विश्वास कर सकते हैं। अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव में हम योग के माध्यम से परमात्मा की उपस्थिति का अनुभव कर सकते हैं। योग के माध्यम से हम तनाव को दूर कर खुद को तनावमुक्त रख सकते हैं। आप सभी अपने इस रूपांतरित रूप के साथ घर वापस जायें।
डॉ. राघवन रमनकुट्टी ने कहा कि आयुर्वेद प्राचीन हीलिंग तकनीक है। आयुर्वेद, वेद से आया है। वेद, धर्म और ज्ञान का मूल है, वेद रूट आॅफ नालेज़ है। उन्होंने कहा कि आयुर्वेद किसी प्रयोगशाला से नहीं आया है बल्कि उसका स्रोत वेद है।
डा स्मिता ने कहा कि हमारा शरीर हमारा घर है इसलिये इसे स्वच्छ और सुन्दर रखना जरूरी है। शरीर की स्वच्छता के लिये डिटाॅक्स और सुन्दरता के लिये रसायन प्रोग्राम अत्यंत आवश्यक है।
अबुएलो एंटोनियो ओक्स्टे ने कहा कि जिस प्रकार हम प्रतिदिन सूर्योदय के समय नया सूर्य देखते है उसी तरह, हम भी हर दिन नए होते हैं। जब पक्षी सुबह सूरज की पहली किरण महसूस करते हैं तो वे कृतज्ञता में गाना शुरू कर देते हैं उसी प्रकार जब हम उठते हैं, तो हमारा पहला विचार ‘‘धन्यवाद’’ का होना चाहिए। हमें अपने विचारों, भावनाओं और कार्यों के साथ सुसंगत होने की आवश्यकता है।
प्रातःकाल 4ः30 बजे कैलिफोर्निया से आये कुंडलिनी योग विशेषज्ञ गुरुशब्द सिंह खालसा द्वारा कुंडलिनी साधना और नाद योग से आज के दिन की शुरूआत हुई। अष्टांग योग के गुरु संदीप देसाई और रेडियंट बॉडी योगा के संस्थापक ताई ची, प्रसिद्ध योगाचार्य किआ मिलर द्वारा फुल माइंड, बॉडी, एनर्जी एक्टिवेशन, परमार्थ निकेतन की वरिष्ठ योगाचार्य गंगा नंदिनी द्वारा शरीर के प्रति जागरूकता सत्र, जापान योग शिक्षक गुमी और अरिंदम ने सूर्योदय नाद योग का अभ्यास कराया।
चेन्नई योग स्टूडियो के संस्थापक रोहिणी मनोहर ने वर्तमान क्षण में सहजता से जीने, प्रसिद्ध योगाचार्य एरिका कॉफमैन पेन्सिलवेनिया, यूएसए ने आनंद और सहजता की विस्तृत अनुभूति के लिए अवेकनिंग लव टू शेयर एंड फील नामक लीला योग विन्यास का अभ्यास कराया। स्टीवर्ट गिलक्रिस्ट ने प्रतिभागियों को सकारात्मक ऊर्जा और प्रेम की शक्ति के साथ सचेत जीवन जीने हेतु योग साधना, बीकेएस अयंगर की शिक्षाओं और पतंजलि के शास्त्रीय योग और मैसूर के टी. कृष्णमचार्य की विन्यसा प्रणाली के दर्शन के आधार पर ‘योग वृक्ष’ – द ट्रंक ऑफ नियामा का आयोजन किया। रिकवरी 2.0 के संस्थापक टॉमी रोसेन द्वारा शांतिपूर्ण क्रिया, प्राण, ध्यान द कीज टू द किंगडम, ‘कैलिबर ऑफ लाइफ’ शीर्षक सत्र यूएसए की गुरुमुख कौर खालसा द्वारा संचालित किया गया।
अंतरराष्ट्रीय कीर्तन-गायक विश्वंभर शेठ, ने प्रतिभागियों को कीर्तन की कला और तकनीक बतायी। डॉ. राघवन रामनकुट्टी और श्रीमती शारदा राघवन ने सात्विक और सुव्यवस्थित भोजन का महत्व बताया। वर्तमान में हो रही बीमारियों का प्रमुख कारण हमारा भोजन और उसे ग्रहण करने का तरीके पर निर्भर करता है। आयुर्वेद में स्वस्थ भोजन का ज्ञान समाहित है जिसके माध्यम से जीवन का कायाकल्प किया जा सकता है।
बीकेएस अयंगर के विद्वान और चीन में योगिक योग के सह-संस्थापक और निदेशक मोहन भंडारी द्वारा रीढ़ की समस्याओं, पीठ के निचले हिस्से में दर्द, स्लिप्ड डिस्क और स्कोलियोसिस पर एक योग चिकित्सा का अभ्यास कराया गया।
मारिया एलेजांद्रा अवचारियन, एक आयुर्वेदिक मेडिसिन थेरेपिस्ट, उन्होंने आहार, मंत्र, ध्यान और योग का जीवन पर पड़ने वाला प्रभाव, मन में पांच तत्व का प्रभाव, मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य के संवर्द्धन के विषय में जानकारी दी। लंदन की एंड्रिया कैरानी ने ध्यान का अभ्यास कराया।
हठ योग, ध्यान, ज्योतिष, आयुर्वेद, वास्तु, संस्कृत, वेद और वेदांत के विद्वान स्वामी स्वत्वानंद ने ‘आयुर्वेद – मानव और पर्यावरण के बीच हार्मोनिक संतुलन’ सत्र के दौरान मानव और पर्यावरण के स्वास्थ्य के लिये हार्मोनिक संतुलन पर चर्चा की। . क्लासिकल ऑस्टियोपैथ चिकित्सक और साउंड प्रैक्टिशनर जोसेफ श्मिडलिन ने थेराप्यूटिक साउंड बाथ का अभ्यास कराया।
डॉ. स्मिता महिला उद्यमी और आयुशक्ति की सह-संस्थापक द्वारा ‘डिटॉक्स एंड रिन्यू – सीक्रेट्स टू एंटी एजिंग’ डिटॉक्स के शक्तिशाली सिद्धांतों के बारे में जानकारी प्रदान की। साथ ही उन्होंने बताया कि बढ़ती उम्र में त्वचा का ख्याल कैसे रखे इस पर भी चर्चा की।
लाइफस्टाइल मेडिसिन मास्टर एंड्रिया पेगे ने हैक फ्लेक्सिबिलिटी और मास्टर फिजिकल पोस्चर का अभ्यास कराया।
गुरनिमित सिंह द्वारा गुरबानी कीर्तन समारोह के माध्यम से विविधता में एकता का संदेश देते हुये कीर्तन की उत्कृष्ट प्रस्तुति दी। विख्यात संगीतज्ञ गिल रॉन शमा द्वारा मंत्र मुग्ध कर देनेवाला संगीत प्रस्तुत किया गया। संगीत के माध्यम से वैश्विक शान्ति, विविधता में एकता, वसुधैव कुटुम्बकम् का संदेश लिये योगी प्रतिदिन एक-एक क्षण को आत्मसात कर रहे हैं।

परमार्थ निकेतन में ‌‌अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव – 2023 का शुभारंभ , राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल (रि)  गुरमीत सिंह करेंगें  15 सो ‌‌‌‌ से अधिक योग जिज्ञासुओं, प्रतिभागियों और 25 से अधिक देशों से 75 से अधिक योग प्रशिक्षक सहभाग कर रहे  हम होली के अवसर पर योग के हो-ले, प्रभु और स्व से जोड़ता है योग -स्वामी चिदानन्द सरस्वती



ऋषिकेश, 07 मार्च ।  परमार्थ निकेतन में 35 वें अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव का शुभारंभ बुधवार की सुबह प्रदेश के राज्यपाल पूर्व लेफ्टिनेंट गुरमीत सिंह करेंगे। जिसमें विश्व के 90 देशों से लगभग 50 विदेशी 25 से अधिक देशों से 75 योगाचार्य अपनी उत्कृष्ट विधाओं के साथ अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव में प्रशिक्षण देंगे। यह जानकारी मंगलवार को ‌परमार्थ निकेतन के अध्यक्ष स्वामी चिदानन्द सरस्वती  और अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव की निदेशक डा साध्वी भगवती सरस्वती  ने  पत्रकारों को देते हुए  बताया कि  अंतर्राष्ट्रीय योग महोत्सव का आयोजन परमार्थ निकेतन, ऋषिकेश द्वारा अतुल्य भारत, पर्यटन मंत्रालय, संस्कृति मंत्रालय और आयुष मंत्रालय, भारत सरकार के सहयोग से किया जा रहा है।

अन्तर्राष्ट्रीय योग महोेत्सव की शुरूआत औपचारिक रूप से ‌विश्व शान्ति यज्ञ के साथ हुयी जिसमें सभी आगंतुकों का स्वागत किया गया।

इस अवसर पर साध्वी भगवती सरस्वती  ने बताया कि आज सेे कई  वर्ष ‌पूर्व 16 से 18 प्रतिभागियों के साथ योग की इस यात्रा की शुरूआत हुयी थी‌,जो आज एक वटवृक्ष की तरह विशाल हो गया है और पूरे विश्व को योगमय करने के लिये प्रतिबद्ध है। उन्होंने जानकारी दी कि इस वर्ष अब तक 88 देशों से लगभग एक हजार प्रतिभागियों ने पंजीकरण कर लिया है ,तथा 25 से अधिक देशों से 75 योगाचार्य अपनी उत्कृष्ट विधाओं के साथ अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव में सहभाग कर रहे हैं।

स्वामी चिदानन्द सरस्वती  ने कहा कि योग खुद से जुड़ने की यात्रा है, और यही संदेश हमारे पर्व और त्यौहार भी हमें देते हैं। अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव के माध्यम से वैश्विक स्तर तक भारत की अमूल्य धरोहर योग, अतुलनीय संस्कृति, वसुधैव कुटुम्बकम् का मंत्र और विविधता में एकता की संस्कृति को पहंुचाने का प्रयास करते हैं उसमें मीडिया की भी महत्वपूर्ण भूमिका है। अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव के माध्यम से हम भारत में पूरे विश्व का दर्शन करते हैं तथा पूरा विश्व माँ गंगा के इस पावन तट पर पूरे भारत को देखता हैं।

अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव में विश्व के अनेक देशों से सेवा देने आये साधकों को स्वामी चिदानन्द सरस्वती  ने संदेश दिया कि यह योग महोत्सव खुद को संवारने, तराशने और तलाशने का है। आप सभी प्रभु के यंत्र के रूप में अपनी सेवायें प्रदान करें। मैट पर योग करने के साथ ही आपस में भी योग (मेलजोल) करें यही वास्तव में योग है। यह अन्तर्राष्ट्रीय फेस्टिवल के साथ अन्तर (आत्मा) का भी पर्व है।

विशेष योगाभ्यास में – प्रातः 4ः30 बजे से रात 9ः30 बजे तक होगी, जिसमें प्रमुख रूप से अष्टांग योग, आयंगार योग, हठ योग, राज योग, भक्ति योग, गंगा योग, ध्यान, मुद्रा, वैदिक मंत्र, संस्कृतवाचन, आयुर्वेद, रेकी, लीला योग, विन्यास योग, कुण्डलिनी योग, जीवमुक्ति योग, सिन्तोह योग, सेमैटिक योग, डीप योग, नाड़ी योग एवं भारतीय दर्शन, डाॅस आफ प्राण, द रूट आफ यम, योग राग, सूर्योदय नाद, श्रीकृष्ण बांसुरी राग, कास्मिक हार्ट, की भी कक्षायें सम्पन्न होगी। देश-विदेश से आये हुये आध्यात्मिक महापुरूषों, धर्मगुरूओं, विशेषज्ञों, राजनेताओं द्वारा धार्मिक सवांद, जिज्ञासा समाधान एवं प्रश्नोत्तरी का भी विशेष आयोजन इस अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव में होगा।

अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्सव के माध्यम से वैश्विक स्तर पर भारत की संस्कृति, दर्शन, समृद्ध विरासत, धार्मिक, सांस्कृतिक और ऐतिहासिक महत्व को प्रदर्शित करने हेतु विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन संस्कृति मंत्रालय भारत सरकार द्वारा किया जा रहा है।

भारत, अफगानिस्तान, अल्बानिया, अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, ऑस्ट्रिया, बेल्जियम, बोस्निया और हर्जेगोविना, बोत्सवाना, ब्राज़ील, बुल्गारिया, कंबोडिया, कनाडा, चाड, चीन, कोलंबिया, क्रोशिया, चेक रिपब्लिक, डेनमार्क, यूरोपीय संघ ईयू, फॉकलैंड, आइलैंड, फिनलैंड, फ्रांस, गैबॉन, जॉर्जिया, जर्मनी, घाना, यूनान, हांगकांग, आइसलैंड, इंडोनेशिया, आयरलैंड, इजराइल, इटली, जापान, कोरिया गणराज्य, कुवैत, लाओस, लिथुआनिया, मलेशिया, माली, माल्टा, मॉरीशस, मेक्सिको, मंगोलिया, मोंटेनेग्रो, मोरक्को, मोजाम्बिक, नामिबिया, नेपाल, नीदरलैंड, न्यूजीलैंड, नाइजीरिया, नॉर्वे, ओमान, पेरू, पुर्तगाल, रोमानिया, रूस, सिंगापुर, स्लोवाकिया, स्लोवेनिया, स्पेन, श्रीलंका, स्वीडन, स्विट्जरलैंड, ताजिकिस्तान, तंजानिया, थाईलैंड, संयुक्त अरब अमीरात, यूक्रेन, यूनाइटेड किंगडम, संयुक्त राज्य अमेरिका, उरुग्वे, उज्वेकिस्तान, वेनेजुएला, वियतनाम आदि अन्य अनेक देशों के 15 सो ‌‌‌‌ से अधिक योग जिज्ञासुओं, प्रतिभागियों और 25 से अधिक देशों से 75 से अधिक योग प्रशिक्षक सहभाग कर रहे हैं।

ऋषिकेश में प्रारंभ हुआ सात दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस योग हमारी संस्कृति से जुड़ा है जिसे बढ़ाए जाने में हमारे ऋषि मुनियो का योगदान है — पुष्कर सिंह धामी



ऋषिकेश,0 1 मार्च, । मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि ‌योग हमारी प्राचीन‌ विधा है जिसने उत्तराखंड के लोगों को देश ही नहीं अपितु विदेश में नई पहचान दी है। जोकि हमारी संस्कृति से भी जुड़ा हैजिसे बढ़ाए जाने में जहां हमारे ऋषि महेशियो का योगदान है वही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ख्याति दिलाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

यह विचार प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने यहां मुनी की रेती में पर्यटन विभाग द्वारा आयोजित सात दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव का शुभारंभ करनेे के उपरांत उपस्थिति को संबोधित करते हुए कहा कि योग सनातन है, पहले भी था और आज भी है और हमेशा रहेगा। धामी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री ने पूरी दुनिया में योग को ले जाने का काम किया और भारत की ऐसी प्राचीन विधायें‌सबके लिए उपयुक्त है इसलिए आज पूरी दुनिया योग को अपना रही है। उन्होंनेे कहा कि कोरोनाा काल के दौरान जब सारी दुनिया के लोग दवाई के लिए परेशान हो रहे‌ थे। उस समय योग नहीं पूर्णा के उपचार में महत्व भूमिका भी निभाई है।

धामी ने कहा कि उत्तराखंड देवभूमि ही नहीं बल्कि योग और वेलनेस का भी उत्कृष्ट केंद्र है। सरकार का भी प्रयास है कि प्रदेश में ऐसे अनेक योग व वेलनेस केंद्रों का विकास हो। पर्यटन विभाग की ओर से आयोजित योग महोत्सव भी इस दिशा में उठाया गया कदम है। योग ने उत्तराखंड के लोगों को देश विदेश में नई पहचान दी है। केंद्र सरकार ने भी योग के लिए काम कर रहे उत्तराखंड के लोगों को सम्मानित किया है। धामी ने कहा कि उत्तराखंड सरकार द्वारा किए जा रहे उत्कृष्ट कार्य को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार ने राज्य में जी 20 सम्मेलन कराने का निर्णय लिया है जो राज्य के लिए गौरव की बात है।

मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि आज जब भारत, विश्व को योग का संदेश दे रहा है; ऐसे में अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव का महत्व और भी बढ़ जाता है। यूं तो ऋषिकेश की नैसर्गिक सुंदरता भी ऐसी है कि लोग खुदबखुद यहां प्रकृति का आनंद लेने के लिए आ जाते हैं, लेकिन योग महोत्सव के दौरान यह सौंदर्य और आनंद अपने चरम को छू लेता है। वसंत ऋतु में जहां एक और आसपास की वादियों के पुष्पों की खुशबू से वातावरण महक उठता है, वहीं दूसरी ओर मां गंगा का पवित्र जल इन दिनों और भी स्वच्छ और निर्मल हो जाता है। धामी ने इस अवसर पर बजरंग गंगा सेतु का विस्तार करने की घोषणा की।

इस अवसर पर पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि योग नगरी ऋषिकेश की ख्याति अब पूरी दुनिया में फैल चुकी है। यहां का जो वातावरण है वो योग का वातावरण है। उन्होंने कहा कि आज योग का प्रचार भारत की सीमाओं को लांघता हुआ पूरी दुनिया में फैल चुका है। चीन का मार्शल आर्ट भारत के योग से ही प्रभावित है। प्रधानमंत्री मोदी ने योग को यूनाइटेड नेशन में मान्यता दिलाई, जिसकी वजह से पूरी दुनिया में योग का प्रभाव हो रहा है। योग को दुनिया ने अपनाया है। महाराज ने कहा कि योग के प्रचार प्रसार के लिए निश्चित तौर पर हमारी सरकार प्रतिबद्ध है। इस महोत्सव के माध्यम से योग साधकों को अनेक विधाएं सीखाई जाएगी।

7 मार्च 2023 तक आयोजित होने वाले इस महोत्सव में योग की जहां बारीकियों को सीखने का मौका मिलेगा, वहीं मन की शांति और स्वस्थ शरीर का अनोखा अनुभव भी प्राप्त कर सकेंगे। इसके साथ ही यहां आने वाले योग साधक नृत्य, संगीत के साथ-साथ योग के विभिन्न आयामों पर भी चर्चा का लुत्फ भी उठा सकेंगे। हर साल की भांति इस साल भी धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रमों की गूंज होगी। इस अवसर पर वित्त मंत्री प्रेमचंद्र अग्रवाल, वन मंत्री सुबोध उनियाल, सचिव पर्यटन सचिन कुर्वे, पदमश्री शिवानंद जी, पद्मश्री रजनीकांत , ऋषिकेश की महापौर अनीता ममगांईं, नगर पालिका अध्यक्ष मुनि की रेती रोशन रतूड़ी आदि गणमान्य अतिथि मौजूद थे।

योग महोत्सव के दौरान योग प्रशिक्षकों ने किया योग का प्रदर्शन

औपचारिक उद्घाटन से पहले योग महोत्सव के कार्यक्रमों की शुरुआत आज सुबह हुई। सबसे पहले छह प्रसिद्ध योग संस्थानों ईशा फाउंडेशन, आर्ट ऑफ लिविंग, राममणि अयंगर स्मृति योग संस्थान, कैवल्यधाम, कृष्णमाचार्य योग मंदिरम और शिवानंद योगा स्कूल के प्रशिक्षकों की मौजूदगी में साधकों के लिए योग शिविरों का आयोजन किया गया। तत्पश्चात आर्ट ऑफ लिविंग ने ध्यान सत्र का आयोजन किया। आर्ट ऑफ लिविंग की ही तरफ से डायबिटीज से पीड़ित लोगों के लिए विशेष योग सत्र का आयोजन किया। शाम को औपचारिक उद्घाटन के बाद प्रसिद्ध रेत कलाकार नीतीश भारती ने अपनी कला का प्रदर्शन किया साथ ही सांस्कृतिक कार्यक्रम में रागिनी मक्कड़ ने शास्त्रीय नृत्य और सुजीत गुप्ता ने बांसुरी वादन की प्रस्तुति दी। इसके अलावा गंगा आरती और भव्य ड्रोन शो का आयोजन भी किया गया। योग साधकों के लिए सात दिन की दिनचर्या तय रहेगी और अलग-अलग विषयों पर साधकों को प्रशिक्षिण दिया जाएगा। प्रतिदिन सुबह योग सत्र आयोजित किए जाएंगे

1 मार्च से ऋषिकेश में आयोजित वर्ष 2023 अंतरराष्ट्रीय योग सप्ताह का शुभारंभ करेंगे प्रदेश के मुख्यमंत्री धामी  प्रदेश के पर्यटन सचिव ने अधिकारियों संग किया योग स्थल का निरीक्षण मेहमानों को परोसा जाएगा, मोटे अनाज से बना व्यंजन -सचिन कुर्वे



ऋषिकेश, 25 फरवरी  ।उत्तराखंड सरकार के पर्यटन विभाग द्वारा आयोजित एक मार्च से 7 मार्च तक वर्ष 2023 अंतरराष्ट्रीय योग सप्ताह की तैयारी को लेकर प्रदेश के पर्यटन सचिव सचिन कुर्वे‌ ने अधिकारियों संग तैयारियों को लेकर समीक्षा बैठक की।

शनिवार की दोपहर मुनी की रती स्थित गढ़वाल मंडल मंडल विकास निगम के गंगा रिसोर्ट में आयोजित होने वाले योग सप्ताह की तैयारियों का स्थलीय निरीक्षण करने के उपरांत पर्यटन सचिव सचिन कुर्वे ने बताया कि 1 मार्च से आयोजित होने वाले वर्ष 2023 के योग सप्ताह का शुभारंभ प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज, कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल और वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया जाएगा।

योग सप्ताह के दौरान देशभर के 80 से अधिक संस्थाओं से जुड़े हजारों की संख्या में योग प्रशिक्षक योग सप्ताह में प्रतिभाग करेंगे। योग सप्ताह के प्रति लोगों में रुझान को देखते हुए उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आवाहन पर मोटे अनाज से बने व्यंजनोंका स्वाद भी चखाया जाएगा, कुर्वे का कहना था कि योग सप्ताह के दौरान जहां योगाचार्य द्वारा योग की विधा से योग सीखने वाले प्रतिभागियों को अवगत कराया जाएगा ,इस दौरान योग के साथ संगीत की विधा का प्रेजेंटेशन भी किया जाएगा ।

जिसमें विख्यात सुजीत कुमार ओझा, नृत्यांगना रजनी मक्खर, नीतश भारती, अपनी प्रस्तुति देंगे। इसी के साथ योग सप्ताह के दौरान प्रतिदिन योग एंड मेडिटेशन की क्लास के साथ आयुर्वेदिक हिलिंग पर विद्वान योगाचार्य पदम श्री भारत भूषण, गुरु गोरांग दास, स्वामी सुखबोधानंद, स्वामी श्रीधरानंद, रूजुता दिवाकर, स्वामी इनंद्रादुमना का मार्गदर्शन भी मिलेगा।

पर्यटन सचिव द्वारा किए गए निरीक्षण के दौरान गढ़वाल मंडल विकास निगम के महाप्रबंधक प्रशासन अनिल गबरियाल, एजीएम यात्रा एस पी एस रावत, पर्यटन परिषद के यशपाल चौहान, महाप्रबंधक प्रशासन विप्रा त्रिवेदी भी उपस्थित थी।

ऋषिकेश में 17 फरवरी से वर्ष 2023 गंगा कयाक महोत्सव का होगा शुभारंभ देश विदेश के 105 खिलाड़ी करेंगे ,प्रतिभाग -भीम सिंह चौहान



ऋषिकेश, 13 फरवरी । आगामी 17 फरवरी से ऋषिकेश के निकट फूल चट्टी आश्रम के गंगा नदी तट पर ‌गोल्फ फॉर रैपिड एडवेंचर स्पोर्ट्स सोसाइटी द्वारा तीन दिवसीय गंगा कयाक महोत्सव 2023 का भव्य आयोजन किया जाएगा।जिसमें देश विदेश के 105 खिलाड़ी प्रतिभाग करेंगे ।

यह जानकारी सोसायटी के अध्यक्ष भीम सिंह चौहान, सचिव विशाल भंडारी, कोषाध्यक्ष संदीप राणा ने संयुक्त रूप से आयोजित सोमवार को मुनी की रेती में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान देते हुए बताया कि तीन दिवसीय गंगा कयाक फेस्टिवल 2023 के अंतर्गत 17 फरवरी को स्प्रिंट बच्चों के साथ फेस्टिवल का प्रारंभ किया जाएगा, 18 फरवरी को स्पीड बोटर क्रास स्लालोम वूमेंस खिलाड़ियों की प्रतियोगिता होगी, जिसका शुभारंभ यमकेश्वर विधानसभा क्षेत्र की विधायक रेणु बिष्ट द्वारा किया जाएगा ,इसी के साथ 19 फरवरी को बिग्निर कैटेगरी मास वोटर्स और ओपन कैटेगरी की प्रतियोगिता आयोजित की जाएगी, प्रतियोगिता का समापन उत्तराखंड राज्य के कैबिनेट कृषि मंत्री सुबोध उनियाल करेंगे, कार्यक्रम की अध्यक्षता पौड़ी के जिला अधिकारी आशीष चौहान द्वारा की जाएगी।जिसमें देश-विदेश के खिलाड़ी भी प्रतिभाग करेंगे, इस प्रतियोगिता को लेकर खिलाड़ियों में काफी उत्सुकता देखी जा रही है और उन्होंने अपना प्रशिक्षण गंगा जी में प्रारंभ भी कर दिया है ।

भीम सिंह चौहान ने बताया कि इस प्रतियोगिता में रसिया से 12 खिलाड़ी भाग ले रहे हैं, जबकि नेपाल से 15 खिलाड़ी भाग लेंगे, इसके अलावा देश के एक सौ से अधिक खिलाड़ी प्रतिभाग कर रहे हैं। प्रतियोगिता में कुल 105 खिलाड़ी प्रतिभाग करेंगे ।

उन्होंने बताया कि कोरोना के दौरान आयोजित प्रतियोगिताओं में खिलाड़ियों ने कम संख्या में प्रतिभाग किया था, परंतु इस बार खिलाड़ियों का रिकॉर्ड भी अच्छा रहेगा। भीम सिंह चौहान ने बताया कि इस प्रतियोगिता का मुख्य उद्देश्य भारत के खिलाड़ियों को ओलंपिक में पहचान दिलाकर उत्तराखंड का नाम देश विदेश में पहुंचाना है।

पत्रकार वार्ता में संस्था के अध्यक्ष भीम सिंह चौहान ,सचिव विशाल भंडारी, कोषाध्यक्ष संदीप राणा, विक्रम  मौजूद थे।

भारतीय क्रिकेटर स्टार विराट कोहली परिवार संग पहुंचे ऋषिकेश, नरेंद्र मोदी के आध्यात्मिक गुरु दयानंद स्वामी आश्रम में जमाया डेरा



ऋषिकेश 31 जनवरी। भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान विराट कोहली अपनी मां सरोज कोहली और पत्नी अभिनेत्री अनुष्का शर्मा के साथ प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आध्यात्मिक गुरु स्वामी दयानंद सरस्वती के ऋषिकेश स्थित आश्रम में पहुंचे।

यहां उन्होंने गुरु की समाधि पर पुष्प अर्पित कर ध्यान लगाया।भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान विराट कोहली परिवार के साथ सोमवार सुबह जनपद पौड़ी गढ़वाल के यमकेश्वर ब्लाक स्थित मोहनचट्टी के एक रिसार्ट में पहुंचे।शाम करीब पांच बजे विराट, अनुष्का और उनकी मां सरोज ऋषिकेश के शीशम झाड़ी स्थित स्वामी दयानंद आश्रम पहुंचे।

बता दें कि स्वामी दयानंद सरस्वती प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आध्यात्मिक गुरु थे। उनसे मुलाकात करने के लिए प्रधानमंत्री स्वयं यहां आए थे। बाद में स्वामी दयानंद सरस्वती ब्रह्मलीन हो गए। उन्होंने आश्रम पहुंचने के बाद सबसे पहले स्वामी दयानंद सरस्वती की समाधि स्थल पर उनकी प्रतिमा में पुष्प अर्पित कर पूजा अर्चना की। उन्होंने यहां करीब 20 मिनट तक ध्यान भी लगाया।आश्रम परिसर में स्थित भगवान शंकर के मंदिर में उन्होंने पूजा-अर्चना की आश्रम आगमन के बाद विराट, अनुष्का और उनकी मां सरोज ने दयानंद आश्रम के अध्यक्ष स्वामी साक्षातकृता नंद महाराज से आशीर्वाद लिया।

रात को वह यहीं आश्रम में ही प्रवास किया। शाम करीब साढ़े सात बजे उन्होंने आश्रम की रसोई में बना भोजन किया। उन्होंने अपने ही कक्ष में रोटी, सब्जी, खिचड़ी, कढ़ी खाई ।

आश्रम के प्रबंधक गुणानंद रयाल ने बताया कि आश्रम पद्धति के अनुरूप विराट व उनका परिवार यहां अपना समय व्यतीत कर रहे हैं। आश्रम में नियमित होने वाली सुबह सात से नौ के बीच योग क्लास में भी वह शामिल होंगे।