ऋषिकेश के नए एसडीएम बने योगेश सिंह मेहरा, चार्ज संभालते ही बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों का किया दौरा



ऋषिकेश 19 अगस्त। ऋषिकेश तहसील में उप जिलाधिकारी योगेश सिंह मेहरा ने शनिवार को विधिवत रूप से कार्यभार संभाल लिया गया है।

नैनीताल जनपद से स्थानांतरित होकर आए उप जिलाधिकारी योगेश सिंह मेहरा का आज से नया पता ऋषिकेश तहसील होगा इनसे पहले ऋषिकेश में तैनात एसडीएम सौरभ सिंह असवाल का तबादला चंपावत हुआ है।

शनिवार को एसडीएम ऋषिकेश का चार्ज संभालने के बाद योगेश सिंह मेहरा ने बताया  कि शहर को अतिक्रमण मुक्त करना, यातायात व्यवस्था सुचारू करवाना और जनहित से जुड़े अन्य कार्य को प्राथमिकता दी जाएगी।

बताते चलें कि शनिवार को ऋषिकेश में चार्ज संभालने के बाद ही एसडीएम मेहरा अधीनस्थों के साथ बारिश से प्रभावित क्षेत्रों का दौरा निकल पड़े।

उन्होंने श्यामपुर, खदरी, छिद्दरवाला, रायवाला आदि क्षेत्रों का स्थलीय निरीक्षण कर हालात का जायजा लिया। मौके पर तहसीलदार चमन सिंह आदि मौजूद रहे

ऋषिकेश भी चमकेगा अब उज्जैन और काशी की तर्ज पर ,  धामी सरकार कैबिनेट की बैठक के महत्वपूर्ण निर्णय के बाद तीर्थ नगरी के विकास को लगेंगे पंख, जानिए किस-किस योजनाओं का इंतजार है ऋषिकेश को



ऋषिकेश, 0 5 अगस्त।  उत्तराखंड सरकार अब‌ योग की अंतरराष्ट्रीय राजधानी के रूप में विख्यात तीर्थ नगरी का विकास काशी और उज्जैन की तर्ज पर करेगी।

शहरी विकास मंत्री प्रेमचंद ने यह जानकारी देते हुए बताया कि राज्य कैबिनेट ने उत्तर प्रदेश के प्रसिद्ध काशी और उज्जैन के तीर्थों की तर्ज पर ऋषिकेश को संवारने का निर्णय लिया है। वर्तमान में कई तरह की चुनौतियों का सामना इस शहर को करना पड़ रहा है।

जी-20 जैसी महत्वपूर्ण बैठक की शानदार मेजबानी कर चुके ऋषिकेश शहर को अब विकास के रूप में नई संजीवनी मिलेगी।

तीर्थ नगरी ऋषिकेश को जगद्गुरु शंकराचार्य, साहित्यकार राहुल सांकृत्यायन, स्वामी विवेकानंद, दिव्या जीवन संघ के संस्थापक स्वामी शिवानंद, हठ योगी डा. स्वामी राम, भावातीत योग के प्रणेता महर्षि महेश योगी, काली कमली वाले स्वामी विशुद्धानंद , प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आध्यात्मिक गुरु स्वामी दयानंद सरस्वती जैसे महान संतों का सानिध्य मिल चुका है।

देश के तत्कालीन राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद, प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, अटल बिहारी वाजपेई, तत्कालीन राष्ट्रपति डा. एपीजे अब्दुल कलाम, रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह यहां आ चुके हैं।

पौराणिक काल से यहां अर्ध कुंभ और महाकुंभ का आयोजन होता आया है। जी-20 जैसा महत्वपूर्ण और सफल आयोजन यहां हो चुका है। अपने आप में महत्वपूर्ण तीर्थ नगरी ऋषिकेश में बड़ी संख्या में मंदिर, मठ, आश्रम, आध्यात्मिक केंद्र और योग केंद्र का संचालन होता आया है। धरातल पर अपनी पहचान के मुताबिक इस शहर को वह स्थान नहीं मिल पाया जिसका यह हकदार था।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में गुरुवार को राजधानी में हुई राज्य कैबिनेट की बैठक में महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया कि ऋषिकेश को उज्जैन और काशी की तर्ज पर विकसित किया जाएगा। कैबिनेट का यह फैसला निश्चित रूप से तीर्थ नगरी ऋषिकेश और आसपास क्षेत्र के लिए एक बड़ी संजीवनी साबित होगा। कई महत्वाकांक्षी योजनाएं ऐसी हैं जो वर्षों से प्रस्तावित है मगर, धरातल पर नहीं उतर पाई हैं। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान ऋषिकेश, योग नगरी रेलवे स्टेशन की सौगात इसे मिल चुकी है। महत्वाकांक्षी ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल परियोजना का मुख्यालय यहीं पर है और इस परियोजना का प्रथम रेलवे स्टेशन भी ऋषिकेश में ही है। देहरादून एयरपोर्ट की दूरी यहां से मात्र 20 किलोमीटर है। चार धाम यात्रा और गढ़वाल मंडल का यह प्रवेश द्वार भी है। वायु मार्ग, रेल मार्ग और सड़क मार्ग सभी से जुड़ा होने के कारण ऋषिकेश का महत्व और बढ़ जाता है। राज्य कैबिनेट के फैसले के बाद निश्चित रूप से ऋषिकेश के लिए लंबित जितनी भी योजनाएं हैं, उन्हें पंख लग जाएंगे इसकी सभी को उम्मीद है।

ऋषिकेश को है इनका इंतजार

– हर की पैड़ी हरिद्वार की तर्ज पर त्रिवेणी घाट का विकास

– गंगा से मात्र 100 मीटर की दूरी पर कूड़े के पहाड़ का निस्तारण

– नेपाली फार्म से लेकर तपोवन मुनिकीरेती तक एलोवेटेड रोड और फ्लाईओवर का निर्माण
– नगर तथा ग्रामीण क्षेत्र के लिए सीवर योजना का पुनर्गठन
– नगर निगम को आर्थिक और मानव संसाधन के रूप में मजबूती
– तीर्थ नगरी के लिए ट्रांसपोर्ट नगर का निर्माण
– नगर तथा आसपास क्षेत्र में बहुमंजिला पार्किंग का निर्माण
– बड़ी फल एवं सब्जी मंडी का विस्तारीकरण
– गंगा में वाटर स्पोर्ट्स गतिविधियों का संचालन
– नगर क्षेत्र का नया ड्रेनेज सिस्टम, सड़कों का विस्तार और पुनर्गठन
– त्रिवेणी घाट को आस्था पत्र के जरिए मुनिकीरेती से जोड़ना
– वन भूमि क्षेत्र में कई वर्षों से विकसित नगर निगम क्षेत्र की आबादी का नियमितीकरण
– पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण संजय झील का विकास

अनीता ममगाईं,महापौर, नगर निगम ऋषिकेश का कहना है कि
भारत स्वच्छता अभियान के तहत ऋषिकेश को आदर्श नगर बनाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री पुष्कर धामी पहले से प्रयासरत रहे हैं। यही कारण है कि कई बड़े ड्रीम प्रोजेक्ट ऋषिकेश को मिले हैं। कैबिनेट के फैसले से नगर निगम की नई प्रस्तावित योजनाएं धरातल पर उतरेगी और निश्चित रूप से ऋषिकेश में इसके महत्व के अनुरूप विकास को गति मिलेगी।

1 घंटे की मूसलाधार वर्षा के कारण तीर्थ नगरी की गली मोहल्ले हुए जलमग्न, जल निगम द्वारा किए गए सीवरेज व्यवस्था के दावों की खुली पूरी तरह पोल,राजकीय चिकित्सालय में भरा पानी मरीजों को हुई दिक्कत



ऋषिकेश ,0 5 अगस्त। शनिवार की सुबह से हो रही मूसलाधार वर्षा के चलते ऋषिकेश तीर्थ नगरी के गली मोहल्ले ग्रामीण क्षेत्र सहित राजकीय चिकित्सालय में जलभराव के कारण मरीजों को भी काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।

शनिवार की सुबह से ऋषिकेश क्षेत्र में मूसलाधार वर्षा होने के कारण ग्रामीण क्षेत्र श्यामपुर में खेतों में पानी भर गया, वही ऋषिकेश के तमाम बाजार पूरी तरह से जलमग्न हो गए इतना ही नहीं नटराज चौक और गोरा देवी चौक से आने वाले शहर की और पानी के कारण जीवनी माई मार्ग, रेलवे रोड, देहरादून मार्ग की तमाम सड़कें नाली नाले चौक हो जाने के कारण सड़कों पर पानी बहता रहा। जिसने जल निगम द्वारा किए जा रहे सीवरेज व्यवस्था के दावों की पूरी तरह पोल खोल कर रख दी, जिससे शहर का जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया इतना ही नहीं जलभराव के कारण राजकीय चिकित्सालय का मुख्य गेट और ब्लड बैंक के सामने मरीजों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।

राजकीय चिकित्सालय में देहरादून मार्ग से आने वाले पहले गेट पर नाले पर जी20 के दौरान डाले गए स्लैब के कारण नाले नालियां पूरी तरह चौक हो गई है। जिसका पानी अस्पताल में घुस रहा है, जिससे मरीजों को भी अस्पताल में अपना उपचार कराने के लिए पहुंचने के लिए काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।

नगर निगम ऋषिकेश के अधिकारियों पर ब्लीचिंग व चुना पाउडर खरीद में 76.61लाख रुपए के घोटाले का पूर्व पालिका अध्यक्ष ने लगाया आरोप, ऑडिट रिपोर्ट का दिया हवाला,   2020 -21 में पूर्व वर्ष की अपेक्षा 8 गुना अधिक कीमत पर हुई खरीदारी, सक्षम अधिकारियों से करवाई जाए जांच – दीप शर्मा



ऋषिकेश,0 8 जुलाई । भारत सरकार के नियंत्रण महालेखा परीक्षक द्वारा 2021-22 के प्रतिवेदन में किए गए ऑडिट रिपोर्ट को आधार मानते हुए पूर्व पालिका अध्यक्ष दीप शर्मा ने ऋषिकेश नगर निगम पर 2020-2021 मे खरीदे गए, चूने के साथ अन्य ‌ सामग्री ‌ की खरीद में 76.61 लाख रुपए के घोटाले का आरोप लगाते हुए सक्षम अधिकारी के विरुद्ध कार्रवाई किए जाने की मांग की है।

यह आरोप दीप शर्मा ने शनिवार को ऋषिकेश प्रेस क्लब में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान लगाते हुए कहा कि उक्त खुलासा भारत सरकार के नियंत्रण महालेखा परीक्षक द्वारा वर्ष 2021- 22 के प्रतिवेदन में किए गए ऑडिट में किया गया है। जिसमें कहा गया है, कि कोरोना काल के दौरान चूना, ब्लीचिंग पाउडर ,मलाथयम पाउडर, की खरीद संविदा आमंत्रित कर बाजार भाव से खरीदी जानी थी। यह निविदा एक वर्ष के लिए लागू थी। इस दौरान बाजार भाव पर भी नजर रखे जाने के लिए निर्देशित किया गया, जिसमें कहा गया था, कि यह सारी खरीदारी जेम पोर्टल के माध्यम से की जाएगी, लेकिन ऑडिट की रिपोर्ट में कहा गया कि नगर निगम ऋषिकेश के अभिलेखों की जांच से पता चला है, कि वर्ष 2020- 21 के  अगस्त महीने में लाइम पाउडर एवं ब्लीचिंग सैनिटाइजर 102.61 करोड़ की खरीद कोटेशन के आधार पर एक फर्म से लिया गया है ।इसके अलावा कम दरों का लाभ प्राप्त करने और जेम पोर्टल पर सामग्री की खरीद के लिए कोई प्रयास नहीं किए गए हैं। जांच में यह भी पता चला कि इकाई ने उक्त सामग्री की खरीद जीईएम पोर्टल पर उपलब्ध कीमत से 4 गुना अधिक कीमत पर की गई थी, परिणाम स्वरूप 76.61 का‌ व्यय अतिरिक्त किया गया है। ऑडिट रिपोर्ट में यह भी सामने आया कि 2019-20 में लाइम पाउडर अन्य ‌‌‌‌‌‌‌फर्म‌ से ₹418 प्रति क्विंटल की दर से कोटेशन के आधार पर खरीदा जा रहा था,

और अप्रैल 2020 में लाइम पाउडर फीस ₹3500 की दर से खरीदा गया है, क्योंकि 2019-20 की तुलना में 8 गुना अधिक है। जांच में यह भी पता चला कि यह खरीद उत्तर प्रदेश नगर निगम 1959 नियम 123 का उल्लंघन करते हुए की गई है ,जो कि 103 करोड़ की सामग्री नगर निगम बोर्ड के प्रस्ताव के अनुमोदन के बिना खरीदी गई थी।

जांच के दौरान यह भी पता चला कि नगर आयुक्त ने इस संबंध में जो जवाब दिया था, उसमें कहा गया कि जो सामान खरीदा जा रहा है, वह मांग के अनुसार ‌‌है,उसमें आश्वासन दिया कि भविष्य में जेम पोर्टल का उपयोग करके ही अन्य सामान खरीदा जाएगा। लेकिन कोविड-19 महामारी के कारण सक्षम अधिकारी के आदेश के अनुसार बहुत अधिक दर पर खरीदा गया था। दिया गया जवाब तर्कसंगत नही था ,क्योंकि आपूर्तिकर्ता द्वारा खरीदी गई सामग्री की दरों की तुलना नहीं की गई थी, बाजार कीमतों या अन्य संगठनों में अन्य सामान दर अनुबंधों में वर्णित कीमतों के साथ तथा इसके अलावा खरीद कोटेशन के आधार पर टुकड़ों में की गई थी जबकि अनुबंध एक बार में 1 वर्ष के हुए संपन्न किया जाना चाहिए था। इस प्रकार विभाग नियमों का अनुपालन करने और पारदर्शीता‌ बनाए रखने में पूरी तरह से विफल रहा है। परिणाम स्वरूप की‌‌ गई खरीद में 76 . 60 लाख का अधिक व्यय किया गया है।

पूर्व पालिका अध्यक्ष दीप शर्मा ने इस संबंध में सक्षम अधिकारी से जाच करवा कर नगर निगम के अधिकारियों के विरुद्ध कार्रवाई किए जाने की मांग की है।

महापौर ने शहर के विभिन्न प्रमुख क्षेत्रों में पेयजल व्यवस्था का किया जायजा, व्यवसथाओं से नाखुश दिखी मेयर, यात्रा के मुख्य द्वार में मजबूत होनी चाहिए पेयजल व्यवस्था-अनिता ममगाई



ऋषिकेश 14 मई। – नगर निगम महापौर अनिता ममगाई ने शहर के विभिन्न प्रमुख क्षेत्रों में पेयजल व्यवस्था का जायजा लिया।

रविवार को निगम के अवकाश के बावजूद भाजपा कार्यकर्ताओं व निगम पार्षदों के साथ चारधाम यात्रा में पेयजल व्यवसथाओं का निरीक्षण करने महापौर सड़कों पर उतरी। उन्होंने यात्रा बस अड्डे व रेलवे स्टेशन से गंगा दर्शन के लिए त्रिवेणी घाट जाने वाले विभिन्न पेदल मार्गों पर लगे स्टेंंड पोस्ट का निरीक्षण किया।अधिकांश में नलों के सूखे पाये जाने पर तत्काल प्रभाव से उन्होंने जल संस्थान के अधिकारियों को मौके पर तलब कर लिया।

रविवार दोपहर को महापौर ने  शहर में पेयजल व्यवसथाओं को परखा।व्यवसथाओं से नाखुश महापौर ने मौके पर जल संस्थान के अधिकारियों को तलब कर निर्देशित करते हुए कहा कि मौसम का मिजाज पिछले तीन दिनों से बेहद गर्म होना शुरू हो गया है। ऐसे में पेयजल व्यवसथाओं का मजबूत होना बेहद जरूरी है ताकि चारधाम यात्रा के मुख्य द्वार ऋषिकेश में पेयजल संकट का सामना ना करना पढ़े। शहर में पानी की कोई कमी नहीं आनी चाहिए। इसको लेकर मेयर ने अधिकारियों को निर्देश दिए। कहा कि, भीषण गर्मी को देखते हुए आवश्यकतानुसार पानी का समय बढ़ाया जाएं। दूषित जला पूर्ति की शिकायत आती है तो त्वरित उसका निस्तारण किया जाएं। जब तक निस्तारण न हो जाए तब तक जनता के लिए टैंकर के माध्यम से शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराया जाए। साथ ही शहर में लगातार हो रही बिजली कटौती से नाराज मेयर ने विधुत विभाग के अधिकारियों को दूरभाष पर नगर की विधुत व्यवस्था में सुधार की बात कही। महापौर ने विभागीय अधिकारी को कहा कि पीक  आवर में लाईनों का काम  करने के बजाए ऐसे समय कार्य करें ताकी यात्रियों को कम से कम परेशानी हो। इस दौरान जल संस्थान के अधिशासी अभियंता अनिल नेगी, पार्षद अनीता रैना, विजय बडोनी, विनोद शर्मा, अनिल ध्यानी,  प्रमोद शर्मा, पवन शर्मा, चेतन शर्मा, संदीप शास्त्री, विवेक गोस्वामी, राजकुमारी जुगलान, धीरेंद्र कुमार, ज्योति सहगल, गौरव सहगल, भूपेंद्र राणा, असर्फी रणावत, जे ई पिंकी चंद,अजय कालड़ा, रमेश अरोड़ा, निशु शर्मा आदि मोजूद रहे।

महापौर ने किया निगम कार्यालय का औचक निरीक्षण, कर्मचारियों की लापरवाही से नाराज दिखी मेयर, लेटलतीफ कर्मचारियों की एक दिन की सैलरी काटने के दिए निर्देश, कर्मचारियों के आरामपरस्ती की आदतों के कारण जनता द्वारा परेशानी को झेलना नहीं होगा बर्दाश्त: अनिता ममगाई



ऋषिकेश 12 मई । महापौर अनिता ममगाई ने निगम कार्यालय का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान निगम कर्मचारियों में हड़कंप मचा रहा।

नगर निगम कर्मचारियो की लेटलतीफी की सूचना पर महापौर ने निगम कार्यालय का औचक निरीक्षण कर अपनी सीट से गायब रहे कर्मचारियों की एक दिन की तनख्वाह काटने के निर्देश दिए।

इस दौरान कर्मचारियों की लापरवाही से नाराज दिखी मेयर ने सख्त लहजे में कहा कि कर्मचारियों की आरामपरस्ती की आदतों से जनता को परेशानियां झेलनी पड़ती हैं। इसे वह बर्दाश्त नही करेंगी।

उन्होंने अधिकारियों- कर्मचारियों से शाखा के कामकाज की प्रगति के बारे में पूछा। उन्होंने अधिकारियों और कर्मचारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिए। मेयर अनिता ममगाई लेखा शाखा पहुंचीं, वहां मुख्य लेखाधिकारी ने उन्हें पूरी लेखा शाखा का दौरा करवाया ।

साथ ही लेखा शाखा के कामकाज और नियुक्त स्टाफ के बारे में मेयर को जानकारी दी। इसके बाद मेयर निगम के अन्य विभागों का दौरा किया।मेयर ने कहा कि प्रत्येक कर्मचारी यह सुनिश्चित करे कि उनके स्तर पर कोई भी कार्य लंबित न रहे। साथ ही अधिकारियों से भी कहा कि वे अपने स्टाफ पर निगरानी रखें तथा यह सुनिश्चित करें कि आमजन के कार्यों में किसी भी प्रकार की कोताही न हो।

उन्होंने अनुपस्थित कर्मचारियों पर एक्शन लेते हुए हाजरी रजिस्ट्रर अपने कार्यालय में मंगवाया और बिना सूचना के अनुपस्थित दिखे कर्मचारियों की एक दिन की सैलरी काटने के लिए नगर आयुक्त को निर्देशित किया।

स्वर्गआश्रम क्षेत्र में 40 दुकानों को खाली किए जाने के निर्देश के बाद दुकानदारों में मचा हड़कंप मंगलवार की शाम तक दुकानें खाली के जाने के लिए निर्देश, खाली न करने पर गरजेगी जेसीबी -आशीष जोशी



ऋषिकेश,0 9 मई ।  जनपद पौड़ी गढ़वाल के अंतर्गत स्वर्ग आश्रम क्षेत्र में भारत साधु समाज की इमारत में‌ बनी 40 दुकानदारों के बीच न्यायालय में चल रहे, विवाद के चलते उच्च न्यायालय के दुकानदारों को खाली किए जाने के निर्देश के बाद जिला प्रशासन सक्रिय हो गया है।

जिसने मंगलवार की शाम 6:00 बजे तक दुकानदारों को दुकानों को खाली किए जाने के निर्देश दिए हैं। जिससे दुकानदारों में हड़कंप मचा है। जिन्होंने अपनी दुकानों को बंद कर जिला प्रशासन के विरुद्ध नारेबाजी कर 3 दिन का समय मांगा है।परंतु प्रशासन समय ना देने के लिए अपनी ज़िद पर अड़ गया है।

उल्लेखनीय है कि यह मामला वर्ष 1998 से न्यायालय में विचाराधीन था। जहां दुकानदार मुकदमे को हार गये हैं। जिसके बाद सभी दुकानदारों को 22 फरवरी 2023 को यम्केश्वर के तहसीलदार द्वारा 10 दिन के अंदर अपना कब्जा हटा ले जाने के लिए आदेश देते हुए कहा था, कि यदि उनके द्वारा अपना कब्जा नहीं हटाया गया तो उनके विरुद्ध उचित बल प्रयोग कर निर्माण को हटा दिया जाएगा ,जिसके खर्चा दुकानदार को देना होगा, यहां यह भी बताते चले कि जिला मजिस्ट्रेट की ओर से 19 जून 2010 को भारत साधु समाज के पट्टे के नवीकरण की जांच के संबंध में कार्रवाई भी की गई थी, जांच में कहा गया था कि जिसमें भारत समाज के द्वारा मूल पट्टे की शर्तों का अनुपालन नहीं किया गया है, तथा पट्टे की शर्तों का उल्लंघन किया जा रहा है ।भूमि का उपयोग निवास गृह निर्माण से विभिन्न व्यवसायिक गतिविधियों के संचालन में दुकानों का निर्माण कर किराए पर दुकानों को देकर किया जा रहा है। इसके अतिरिक्त भारत साधु समाज के द्वारा खसरा संख्या 63 के कुछ भूमि पर अतिक्रमण का निर्माण भी किया गया है।

जबकि दुकानदारों का कहना है कि यह खसरा 63 नहीं 65 है। मौके पर उपस्थित दुकानदार संजय अग्रवाल का कहना है कि इसी मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट में 12 मई को सुनवाई भी की जानी है, परंतु प्रशासन अपनी जिद पर अडा हुआ है। उपजिलाधिकारी आशीष जोशी का कहना है कि यह मामला वर्ष 1998 से न्यायालय में विचाराधीन था, जिस पर कई बार स्टे भी लिया गया था । जिसकी अवधि समाप्त हो चुकी है।

सीमा डेंटल कॉलेज हॉस्पिटल प्रबंधक एवं कर्मचारियों के बीच हुआ विवाद -कर्मचारियों ने कार्य बहिष्कार कर गेट के बाहर दिया धरना



ऋषिकेश ,09 मई । सीमा डेंटल कॉलेज ‌हॉस्पिटल प्रबंधक एवं कर्मचारी यूनियन के बीच कर्मचारियों की नियुक्ति ‌ओर वेतन बढ़ोतरी की मांग को लेकर हुए विवाद के बाद कर्मचारियों ने गेट के बाहर कार्य बहिष्कार कर धरना देना प्रारंभ कर दिया है।

मिली जानकारी के अनुसार जिला पंचायत सदस्य एवं यूनियन के अध्यक्ष संजीव चौहान जब मंगलवार को कॉलेज के निदेशक विवेक सिंह से कर्मचारियों के संबंध में बातचीत करने गए ,तो उन्होंने ठीक से बात ना कर कर्मचारियों को उनकी शर्तों के आधार पर कार्य करने की चेतावनी देते हुए उन्हें बाहर का रास्ता दिखा जाने की धमकी दी।

जिस पर वहां उपस्थित अन्य कर्मचारियों में निदेशक के विरोध में रोष उत्पन्न हो गया और सभी कर्मचारियों ने कार्य बहिष्कार कर गेट के बाहर धरना देना प्रारंभ कर दिया।

बताया गया कि सीमा डेंटल कॉलेज में कर्मचारियों को कार्य करते हुए कई वर्ष हो गए हैं जिनको 5 वर्ष में पुनरनियुक्त किए जाने के एग्रीमेंट के साथ उनका वेतन ग्रेच्युटी कार्ड का चैक उनके खाते में जमा करने के उपरांत नगद पैसा वापस ले लिया जाता है।

यह भी बताया गया कि सीमा डेंटल कॉलेज में इन कर्मचारियों को अस्थाई रूप से रखकर नई नियुक्ति की जाती है, यह खेल सीमा डेंटल कॉलेज की स्थापना के बाद से चल रहा है ।इसी संबंध में कर्मचारी यूनियन के अध्यक्ष संजीव चौहान जब बातचीत करने गए थे, उनका कहना था कि नियुक्ति पत्र में 10% वृद्धि का उल्लेख था। मगर कर्मचारियों को 2.3 प्रतिशत की गई है। इसी के साथ कुशल कर्मचारियों को अंकुश और कर्मचारी के रूप में भर्ती किया जाता है। जिसे लेकर कार्यकारी निदेशक इस संबंध में संतोषजनक उत्तर न देकर कर्मचारियों का उत्पीड़न करते हैं। कर्मचारियों का आरोप है कि यदि कोई कर्मचारी अपनी मांग को लेकर आवाज बुलंद करता है, तो उसे बाहर का रास्ता दिखा दिया जाता है। इन मांगों को लेकर कर्मचारियों ने कॉलेज के प्रबंधक वर्ग को नोटिस देते हुए कार्य बहिष्कार कर गेट के बाहर धरना देना शुरू कर दिया है ।

जहां संजीव चौहान यूनियन के उपाध्यक्ष लंकेश रयाल, सचिव रघुवीर सिंह रावत, संयुक्त सचिव ऋषि गैरोला ,संगठन मंत्री अशोक शर्मा, कोषाध्यक्ष सुनील उनियाल सहित अन्य कर्मचारी भी मौजूद थे।

ऋषिकेश में बॉलीवुड कॉमेडियन अभिनेता संजय मिश्रा ने वेद मंत्रों के बीच संतों से लिया आशीर्वाद – व्यक्तिगत पूजा करने आए थे संजय



ऋषिकेश,0 8 मई ।तीर्थ नगरी ऋषिकेश में बॉलीवुड कॉमेडियन अभिनेता संजय मिश्रा के पहुंचने पर तुलसी मानस मंदिर के महंत रवि प्रपन्नाचार्य व ऋषि कुमार ने वेद मंत्रों के बीच संतों से आशीर्वाद लिया।

सोमवार की सुबह महंत रवि प्रपन्नाचार्य ने रघुनाथ मंदिर में उनकी पारिवारिक पूजा करवा कर मां गंगा का दूधाअभिषेक किया।

इस अवसर पर रवि प्रपन्नाचार्य ने बताया कि बॉलीवुड अभिनेता संजय मिश्रा अपने पारिवारिक कार्यक्रम के तहत ऋषिकेश पूजा अर्चना कर मुंबई के लिए रवाना हो गए।

उन्होंने बताया कि तीर्थ नगरी में मुझे संतों का आशीर्वाद मिला है, इससे बड़ा सौभाग्य मेरे लिए और कुछ नहीं है। उन्होंने समस्त मानव मात्र से अपील की कि प्रकृति के संतुलन और गंगा को स्वच्छ बनाकर रखें, गंगा के किनारे पौधारोपण करें। इस कलिकाल में गंगा ही साक्षात प्रमाण है , मुझे मां गंगा ने बुलाया और मेरे परिवार को मां गंगा ने आशीर्वाद दिया महंत रवि महाराज ने गोमुख का पवित्र जल एवं उत्तरीय रुद्राक्ष संजय मिश्रा को पहना कर उन्हें आशीर्वाद दिया।

संजय मिश्रा भारतीय फ़िल्म के हास्य अभिनेता भी है। जिन्होंने अधिकतर हिन्दी फ़िल्मों और टेलीविज़न धारावाहिकों में अभिनय किया है। 2015 में इन्हें आँखों देखी के लिए फ़िल्मफ़ेयर क्रिटिक अवॉर्ड फ़ॉर बेस्ट एक्टर से नवाजा गया। वह हाल ही में टोटल धमाल में दिखाई दिए।

इस अवसर पर फिल्म अभिनेता संजय मिश्रा ने‌ गंगा सेवा एवं पर्यावरण सुरक्षा समिति के संरक्षक चंद्रवीर पोखरियाल, राहुल शर्मा गंगा सभा के अध्यक्ष, अभिषेक शर्मा, राम चौबे, दीपक दरगन ,आचार्य अजय भट्ट आदि भी उपस्थित थे।

बारिश के चलते जलमग्न हुई सड़क का महापौर ने लिया जायजा  एन एच की लापरवाही से बड़ी जलभराव की समस्या-अनिता ममगाई नाला गैंग को महापौर ने दिए आवश्यक निर्देश



ऋषिकेश-3 मई।  तीन दिन से तीर्थ नगरी में हो रही लगातार बारिश के चलते हरिद्वार रोड़ पर हुई जलमग्न की स्थिति का जायेजा लेने महापौर अनिता ममगाई निगम के अमले के साथ मौके पर पहुंची।

इस दौरान एन एच द्वारा सड़क के चौड़ीकरण के लिए बनवाये गये चैम्बरों को उन्होंने जांच के लिए उठवाया तो एन एच के निर्माण सामग्री से वो अटे पढ़े थे।महापौर ने क्षेत्रवासियों को फोरी राहत दिलाने के लिए तुरंत नाला गैंग को सफाई के लिए लग जाने के निर्देश दिए।उत्तराखंड के विभिन्न क्षेत्रों के साथ देवभूमि ऋषिकेश में भी पिछले तीन दिनों से लगातार हो रही बारिश ने लोगों का जनजीवन अस्त व्यस्त कर दिया है। खासतोर पर हरिद्वार रोड़ स्थित पुरानी चुंगी पर सड़क बरसाती पानी से जलमग्न हो रखी है।

आवागमन में क्षेत्रवासियों सहित अन्य क्षेत्र के लोगों एवं पर्यटकों को आवागमन में आ रही दुश्वारियों का संज्ञान लेते हुए बारिश के बावजूद महापौर मौके पर पहुंची और आवश्यक कारवाई के तुरंत निर्देश दिए।उन्होंने बताया कि एन एच द्वारा नाले निर्माण में बरती गई लापरवाही की वजह से बारिश में जलभराव कि समस्या उत्पन्न हो रही है।

उन्होंने जानकारी दी कि इस बाबत निगम अधिकारियों को तत्काल एन एच को नोटिस दिए जाने के आदेश दिए गये हैं।

साथ ही एन एच अधिकारियों को कहा जायेगा कि भविष्य में निगम के साथ तालमेल करके ही अपने निर्माण को करें ताकि इस तरह की समस्याओं से जनता को जूझना ना पढ़े। उन्होने बताया कि नगर निगम के अधिकारियों को पूरा फोकस नाला सफाई पर लगाने के लिए निर्देशित किया गया है। ताकि बारिश में शहर को जलभराव से बचाया जा सके।

इस दौरान सहायक नगर आयुक्त रमेश रावत, अधिशासी अभियंता दिनेश प्रसाद उनियाल, सफाई निरीक्षक अभिषेक मल्होत्रा, तरुण लखेरा, विनय बलोधी, विनोद पुरोहित, संदीप रतूड़ी आदि प्रमुख रूप से शामिल थे।