श्री बदरीनाथ धाम गाडू घड़ा यात्रा 2023 का हुआ शुभारंभ नरेन्द्र नगर राजदरबार में भगवान बद्री विशाल को लेपन किए जाने वाला तील का तेल महारानी की देखरेख में सुहागिन महिलाओं ने निकाला -13 अप्रैल प्रात: गाडू घड़ा तेलकलश मंदिर समिति के चेलाचेतराम धर्मशाला में दर्शनार्थ रहेगा, – 27 अप्रैल को प्रात: 7 बजकर 10 मिनट पर खुलेंगे, श्री बदरीनाथ धाम के कपाट
ऋषिकेश, 12 अप्रैल । बद्रीनाथ मंदिर में भगवान को लेपन किए जाने के साथ ज्योत में जलने वाले तील तेल को नरेंद्र नगर स्थित राजमहल में महारानी मालाराज्य लक्ष्मी शाह,के साथ सुहागिन महिलाओं ने विधि विधान से पूजा अर्चना के बाद पिरोया ।
बुधवार की सुबह तील तेल पिरोये जाने की प्रक्रिया राजा मनुजयेंद्र शाह और महारानी मालाराज्य लक्ष्मी शाह, राजपुरोहित आचार्य कृष्ण प्रसाद उनियाल की उपस्थिति में विधि विधान के साथ प्रारंभ हुई। जिसे शाम को गाडू घड़े में भरकर राजदरबार से श्री बदरीनाथ धाम के लिए रवाना किया जाएगा। जिसके बाद शाम को तेल कलश ऋषिकेश स्थित मंदिर समिति के चेलाचेतराम धर्मशाला में रात्रि विश्राम के लिए पहुंचेगा।
जहां श्री बदरीनाथ धाम गाडू घड़ा तेलकलश यात्रा के लिए श्री डिमरी धार्मिक केंद्रीय पंचायत के पदाधिकारियों सहित प्रतिनिधिगण डिमरियों के मूल गांव डिम्मर से ऋषिकेश मंदिर समिति के चेला चेतराम धर्मशाला पहुंच गये है।
श्री डिमरी धार्मिक केंद्रीय पंचायत के अध्यक्ष ,श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति बीकेटीसी के सदस्य आशुतोष डिमरी ने यह जानकारी देते हुए बताया कि डिमरी धार्मिक पंचायत के पदाधिकारी प्रतिनिधि श्री लक्ष्मीनारायण मंदिर डिम्मर सिमली-चमोली से रात्रि प्रवास हेतु ऋषिकेश पहुंच गये हैं, जोकि ऋषिकेश से डिमरी पंचायत प्रतिनिधि तेलकलश हेतु नरेन्द्र नगर राजदरबार पहुंचे।
उल्लेखनीय है कि श्री बदरीनाथ धाम के कपाट 27 अप्रैल को प्रात: 7 बजकर 10 मिनट पर विधि-विधान से खुल जायेंगे, ऋषिकेश, देवप्रयाग, श्रीनगर, रूद्रप्रयाग, कर्णप्रयाग, डिम्मर होते हुए तेलकलश यात्रा विभिन्न पड़ावों से होते हुए 26 अप्रैल शाम को बदरीनाथ धाम पहुंच जायेगी। कपाट खुलने के अवसर पर गाडू घड़ा के तिलों के तेल से भगवान बदरीविशाल का छ: माह तक यात्राकाल में अभिषेक किया जायेगा।
पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष विनोद डिमरी ने बताया कि तेल कलश यात्रा प्रथम चरण में नरेन्द्र नगर राजदरबार से शुरू होकर रात्रि निवास को मंदिर समिति के चेला चेतराम धर्मशाला ऋषिकेश पहुंचेगी जो की 13 अप्रैल को प्रात: से दोपहर तक चेलाचेतराम धर्मशाला ऋषिकेश में तेलकलश के दर्शन होंगे। भोग एवं पूजा के पश्चात 13 अप्रैल को तेलकलश श्रीनगर गढ़वाल रात्रि प्रवास हेतु प्रस्थान करेगा 14 अप्रैल को तेलकलश श्रीनगर से लक्ष्मी नारायण मंदिर डिम्मर पहुंचेगा। 23 अप्रैल तक श्री लक्ष्मीनारायण मंदिर डिम्मर में तेलकलश की पूजा की जायेगी। द्वितीय चरण में 24 अप्रैल को तेलकलश श्री नृसिंह मंदिर जोशीमठ पहुंचेगा। 25 अप्रैल को आदिगुरु शंकराचार्य जी की गद्दी सहित रावल ईश्वर प्रसाद नंबूदरी के साथ गाडू घड़ा योग बदरी मंदिर पांडुकेश्वर पहुंचेगा।26 अप्रैल को पांडुकेश्वर से आदिगुरु शंकराचार्य जी की गद्दी एवं रावल जी के साथ ही श्री उद्वव जी श्री कुबेर जी के साथ गाडू घड़ा श्री बदरीनाथ धाम पहुंचेगा।
27 अप्रैल प्रात: सात बजकर 10 मिनट पर श्री बदरीनाथ धाम के कपाट श्रद्धालुओं को दर्शनार्थ खुलेंगे।डिमरी धार्मिक केंद्रीय पंचायत अध्यक्ष आशुतोष डिमरी ने बताया कि ऋषिकेश में 13 अप्रैल प्रात: गाडू घड़ा तेलकलश मंदिर समिति के रेलवे रोड धर्मशाला में रखा जायेगा।
डिमरी केंद्रीय पंचायत के अध्यक्ष आशुतोष डिमरी सहित उपाध्यक्ष भाष्कर डिमरी, महामंत्री भगवती डिमरी, पूर्व कार्यकारी अध्यक्ष विनोद डिमरी, वरिष्ठ सदस्य हरीश डिमरी, ज्योतिष डिमरी, विपुल डिमरी, प्रशांत डिमरी, टीका प्रसाद डिमरी, दिनेश डिमरी, नरेन्द्र प्रसाद डिमरी, अनुज डिमरी हेमचंद्र डिमरी, मनोज डिमरी आदि गाडू घड़ा यात्रा हेतु मंदिर समिति के चेलाचेतराम धर्मशाला ऋषिकेश पहुंच गये हैं।
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